सैलरी नहीं मिलने पर गो एयर के आधा दर्जन सीनियर अधिकारियों ने छोड़ी नौकरी, 4 हजार कर्मचारी पहले से ही बिना वेतन छुट्टी पर

वाडिया समूह की बजट एयरलाइंस गो एयर के आधा दर्जन सीनियर अधिकारियों ने नौकरी छोड़ दी है। कारण यह है कि कंपनी इन कर्मचारियों की सैलरी नहीं दे पा रही है। कंपनी ने बहुत सारे कर्मचारियों को बिना सैलरी के छुट्टी पर भेज दिया है। कंपनी में कुल 6,700 कर्मचारी हैं जिसमें से 4 हजार के करीब बिना सैलरी के छुट्टी पर हैं। जानकारी के मुताबिक हाल के हफ्तों में काफी सारे कर्मचारियों ने कंपनी से इस्तीफा दे दिया है।

25 मई से घरेलू रूट पर आवाजाही शुरू है

गो एयर के प्रवक्ता कहा कि कंपनी लगातार मार्केट की मौजूदा स्थिति का आंकलन कर रही है और वर्तमान में अपने फ्लाइट ऑपरेशन्स के मुताबिक लागत को तय करेगी। कोरोना वायरस महामारी से एयरलाइन सेक्टर बुरी तरह प्रभावित हुआ है। एयरलाइन कंपनियां अपने खर्चों को कम करने के लिए कर्मचारियों की छंटनी कर रही हैं। बता दें कि मार्च के अंतिम हफ्ते में एयरलाइंस सेक्टर बंद हो गया था। हालांकि 25 मई से घरेलू रूट पर फिर से एयरलाइंस की आवाजाही शुरू है।

33% क्षमता के साथ ही उड़ान भर सकती हैं

एयरलाइंस सेक्टर के बंद होने से सभी कंपनियों को काफी नुकसान का सामना करना पड़ा है। हालांकि अभी भी एयरलाइंस 33 प्रतिशत क्षमता के साथ ही उड़ान भर सकती हैं। मुंबई जैसे व्यस्ततम एयरपोर्ट पर जहां कोरोना से पहले रोजाना 1000 फ्लाइट आती और जाती थीं, वहीं यह संख्या अब 100 के करीब ही है। कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए उड़ान सेवाओं को बंद कर दिया गया था जिससे गो एयर की वित्तीय स्थिति प्रभावित हुई है।

कंपनी 30 फीसदी कर्मचारियों का वेतन नहीं दे पा रही है

कंपनी ने मार्च में अपने अधिकांश कर्मचारियों के वेतन में कटौती की घोषणा की थी। अप्रैल में कंपनी ने 60 से 70 फीसदी कर्मचारियों को वेतन के बिना छुट्टी पर भेजने की स्कीम घोषित की थी। सूत्रों का कहना है कि कंपनी बाकी 30 फीसदी कर्मचारियों का वेतन भी नियमित रूप से नहीं दे पा रही है। इस महीने कंपनी ने कर्मचारियों को तीन विकल्प दिए। इनमें खुद इस्तीफा देने, टर्मिनेशन और अनिश्चितकालीन अवधि तक बिना वेतन पर छुट्टी का विकल्प शामिल है।

यात्री पूरे न मिलने से कंपनियों को नुकसान

अभी भी जो एयरलाइंस चल रही हैं, उसमें आधी सीटें खाली जा रही हैं। मसलन मुंबई से दिल्ली के बीच 50 से 60 प्रतिशत ही सीटें भर रही हैं। दिल्ली से भोपाल की बात करें तो 70 प्रतिशत सीटें भर रही हैं। लेकिन भोपाल से मुंबई के बीच महज 30 प्रतिशत सीटें भर रही हैं। यही कारण है कि जिन रूट पर कंपनियां फ्लाइट को उड़ा रही हैं वहां भी यात्री पूरे न मिलने से कंपनियों को नुकसान सहन करना पड़ रहा है।

कुछ दिन पहले ही सीईओ विनय दूबे ने इस्तीफा दे दिया था

हाल के दिनों में गो एयर के कंपनी सचिव, इंटरनेशनल ऑपरेशन के वाइस प्रेसीडेंट, कार्गो, कस्टमर सेवाओं, इन फ्लाइट सेवाओं और कॉर्पोरेट कम्युनिकेशन के लोग नौकरी छोड़ दिए हैं। तीन अन्य वाइस प्रेसीडेंट के अलावा बिक्री, लीगल और मार्केटिंग के भी अधिकारी बिना सैलरी के छुट्‌टी पर हैं। पिछले हफ्ते ही एयरलाइंस ने कौशिक खोसला को सीईओ नियुक्त किया था। इसके पहले के सीईओ विनय दूबे ने इस्तीफा दे दिया था।

कंपनी संभावित कदम उठाएगी

गो एयर के प्रवक्ता ने कहा कि लंबी अवधि के लिहाज से कंपनी संभावित कदम उठाएगी जिसमें लागत की कटौती पर फोकस होगा क्योंकि अभी भी मांग में अनिश्चितता बनी हुई है। कंपनी सभी तरह से रेवेन्यू को बनाए रखने की कोशिश कर रही है।



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कंपनी ने बहुत सारे कर्मचारियों को बिना सैलरी के छुट्टी पर भेज दिया है।


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