नीरव मोदी के भारत प्रत्यर्पण मामले में 25 फरवरी को ब्रिटेन की अदालत सुना सकती है फैसला
वांटेड भगोड़ा हीरा कारोबारी नीरव मोदी के भारत प्रत्यर्पण को लेकर ब्रिटिश कोर्ट 25 फरवरी को फैसला सुना सकता है। नीरव मोदी के प्रत्यर्पण मामले की सुनवाई पूरी हो चुकी है। नीरव मोदी के भारत को प्रत्यर्पण मामले में ब्रिटेन की अदालत में अंतिम सुनवाई में बताया गया कि नीरव मोदी पोंजी जैसी एक योजना के लिए जिम्मेदार है, जिसके कारण पंजाब नेशनल बैंक (PNB) में एक बड़ी धोखाधड़ी हुई। दो दिवसीय सुनवाई का शुक्रवार को दूसरा दिन था।
भारत सरकार की ओर से इस मामले की पैरवी अदालत में ब्रिटेन की क्राउन अभियोजन सेवा (क्राउन प्रॉसिक्यूशन सर्विस) कर रही है। नीरव मोदी ने दक्षिण- पश्चिम लंदन स्थित वैंड्सवर्थ जेल से वीडियो लिंक के जरिए इस सुनवाई में भाग लिया।
क्या है मामला?
नीरव ने पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के साथ करीब 2 अरब डॉलर की धोखाधड़ी की थी। इसे लेकर भारत में कई जांच एजेंसियों ने उनके खिलाफ मामले दर्ज किए हैं। ब्रिटेन की क्राउन अभियोजन सेवा (सीपीएस) के जरिए भारत नीरव के प्रत्यर्पण की मांग कर रहा है।
नीरव मोदी 19 मार्च 2019 से जेल में है
नीरव मोदी 19 मार्च 2019 को गिरफ्तार होने के बाद से जेल में है। उसने बार जमानत हासिल करने की कोशिश की थी, लेकिन हर बार उसकी याचिका खारिज हो गई।
2019 में नीरव मोदी भगोड़ा घोषित किया गया था
सरकारी जांच एजेंसियों के मुताबिक नीरव मोदी और मेहुल चोकसी ने कुछ बैंक अधिकारियों के साथ मिलकर गारंटी पत्र के जरिए पंजाब नेशनल बैंक के साथ 14 हजार करोड़ रुपए का फ्रॉड किया है। नीरव को 2019 में भगोड़ा घोषित कर दिया गया था।
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